धुन में जब रम जायेगा , वह अनुभव में आयेगा //
जैसे मीरा ने की प्रीत , वाणी से केशव के गीत /
भाव की सरिता से बह निकले,,हो गईं मीरा परम पुनीत //
जब वह हृदय समायेगा, अन्तर्शक्ति जगायेगा /
बना ले ---------------------------------------------//१//
जैसे तुलसी, सूर, कबीरा, जिन्हें न ब्यापी भव की पीरा
वैसे तू भी रमजा बन्दे ,सुख तो पाये सदा फकीरा
केशव में रम जायेगा , भव सुख तुझे न भायेगा/
बना ले ---------------------------------------------- //२//
जप तप भजनों में अनुरागे, मोहासक्ति तुम्हारी भागे
हो जायेगा ये मन वश में,जब तू ईश्वर के हित जागे
''मधुकर'' जब वह आयेगा , दुख-भव पार करायेगा /
बना ले ----------------------------------------------- //३//
उदयभानु तिवारी ''मधुकर ''
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